बढ़ा कदम
बढ़ा कदम
रुक गए जो कदम फिर कहाँ तुझमे दम
मुड़ के न देख पीछे कोई न है तेरे संग
आगे देख मंजिल दूर बस कुछ कदम
अंतर्मन मे झाँक तेरे होंसले तेरे हमदम
हिम्मत से कर अपने हौसले बुलंद
हिम्मत से कभी भी न हारना तुम
सब मिलाएंगे फिर तुम्हारे कदम से कदम
दिखा दे चुनौतियों को नहीं तुम किसी से कम
बढ़ा कदम आगे ही आगे हर कदम।
