STORYMIRROR

Jyoti Durgapal

Inspirational

4  

Jyoti Durgapal

Inspirational

पौराणिक कथा

पौराणिक कथा

1 min
278

एक कहानी ऐसी भी जो कभी

लिखी गयी तो कभी बयां हुयी शब्दों से।


काल्पनिकता से वास्तविकता का

सफर तय करती हुई। 


कभी उकेरी गई भावनाओं से

तो कभी भ्रमित सी होती हुई। 


उठापटक जिंदगी की समझाते हुए 

कभी तराशी गई तो कभी नकारी गई। 


जिंदगी के अनुभव समझाती कभी,

कभी सही राह दिखलाती।


पीढ़ी दर पीढ़ी सुनी गई तो कभी सुनाई गई।

अभिव्यक्त हुई दिल से तो कभी जुबां से बताई गई।।


Rate this content
Log in

Similar hindi poem from Inspirational