चाहते हैं अपनी पूरी बर्बादी
चाहते हैं अपनी पूरी बर्बादी
इश्क में लाखों दीवाने हुए,
पर मुझ सा ना कोई बर्बाद हुआ।
मैंने इज़हार किया, पर इनकार हुआ।
भूल गया ठिकाना, लापता हुआ।
सारे काम अभी तक फर्स्ट-क्लास हुआ,
पर इश्क में कैसे गेट-लोस्ट हुआ।
जिद्दी आशिक हैं हम, चाहते हैं अपनी पूरी बर्बादी,
अरे...अभी तो मैं, सिर्फ तिनके सा बर्बाद हुआ।
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