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Sudhir Srivastava

Abstract

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Sudhir Srivastava

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राम जीवन मंत्र है

राम जीवन मंत्र है

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राम सिर्फ नाम नहीं

राम को जानिए,

राम सिर्फ पूज्य नहीं 

राम कहा मानिए।

राम सिर्फ सृजनहार नहीं,

राम पालनहार भी हैं

और खेवनहार भी हैं

राम सिर्फ जीवन सार नहीं 

राम ही मृत्यु आधार भी हैं।

राम बस संसार नहीं

अखिल ब्रह्माण्ड हैं।

राम सिर्फ रामनाम नहीं

हर जन मन में आम हैं,

राम की तलाश मत करिए

राम तो आपके ही पास हैं।

क्यों भटक रहे हो 

राम की तलाश में,

राम कोई चीज तो नहीं

जो इधर- उधर खोज रहे हो।

ध्यान से खुद में ही झांकिए

सिर्फ आप में नहीं

कण- कण में ही राम हैं।

राम जीवन मंत्र है,

कौन कहता है?

कि राम स्वतं

त्र हैं,

राम तो आप के बस में हैं ।

खुद को उनके भरोसे 

छोड़कर तो देखिए,

वो आपको संभालने के लिए,

दौड़े चले आयेंगे।

यह और बात है

कि हम खुद ही 

राम नाम को 

समझ नहीं पा रहे हैं,

खुद ही बड़ा अकड़ रहे हैं।

हम खुद ही तो हैं

जो रा और म को अलग

महज अक्षर मान रहे हैं

और अब तक भटक रहे हैं।

जबकि राम अभी भी

प्रतीक्षारत हैं उस पल का,

जब आप रा और म को

अपने में आत्मसात करेंगे

और राम जी की कृपा के

संपूर्ण पात्र बनेंगे।

अपने आपको ही नहीं

अपने जीवन का हर पल

प्रभु श्रीराम के नाम करेंगे,

और खुद को राममय करेंगे। 



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