पत्नी है सबसे धनी
पत्नी है सबसे धनी
जो अपने पति पर रहती सदा तनी,
पति से कभी कम नहीं होती पत्नी।
झूले में टंगी रहती जैसे कोई कनी,
तथैव घर में सदा तनी रहती पत्नी।
जो पति से झटक लेती है सब मनी,
घर के सारे खर्चे चलाती वही पत्नी।
जिसका कुछ न बिगाड़े राहु शनि,
ऐसी होती है शक्तिशाली पत्नी ।
पति से होती जिसकी छाया घनी,
ऐसी सघन छायादार होती पत्नी।
जहाँ पति की पत्नी से नहीं बनी,
वहाँ पीनी पड़ेगी चाय बिना छनी।
पति निर्धन हो या हो फिर धनी,
धनवान होती है सदा हर पत्नी।
कभी कभी पत्नी करती बातें फनी,
कभी कभी वो हो जाती अनबनी।
मेरी राजदुलारी का नाम है गनी,
ठाट से रहती है घर में मेरी पत्नी।
जिस घर में पत्नी रहती बनी ठनी,
पायलें चहकती हैं वहाँ रुनझनी ।
