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Harshmani kothiyal

Inspirational Others

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Harshmani kothiyal

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नारी

नारी

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नारी है तो मान है 

नारी है तो सम्मान है 

नारी से तो जग चला 

नारी से संसार बढ़ा


यह कैसी है प्रथा चली

अत्याचार सह रही

कभी कोख में ही मारते

कभी प्रताड़ना से ताड़ते


लक्ष्मी को तो पूजते

लक्ष्मी रूप है जो

उसको क्यों हो लूटते

हो रहा अधर्म है 

दिख रहा अंत है


लूट कर मान को

उसके सम्मान को

दिख रहा है खुश क्यों

छीन कर अभिमान को


रोएगा तो एक दिन

अपनों का ख्याल कर

कर रहा है ऐसा क्यों

अपने से सवाल कर


रूप वो मां का, रूप वो कलाई का

रूप वो प्यार का, रूप वो सच्चाई का

रूप है वो शक्ति का, रूप है वो भक्ति का

मान दे, सम्मान दे, उसको पहचान दे


जीत कर विश्वास को, साथ तेरा पाएगी

सपनों को पूरा करके वो दिखाएगी

देश के मान को, अपने सम्मान को

आगे ही बढ़ाएगी, कभी ना झुकायेगी


रोक दे अब तू यह अत्याचार

त्याग कर अब तो यह गलत विचार

खत्म हो जाएगा, नहीं तो तेरा यह संसार

क्योंकि नारी है तो मान है, नारी है तो सम्मान है

नारी से तो जग चला, नारी से संसार बढ़ा



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