STORYMIRROR

Shailesh Srivastava

Tragedy

4  

Shailesh Srivastava

Tragedy

अम्मा उन्हें बुलाते थे..!

अम्मा उन्हें बुलाते थे..!

1 min
486

थीं हमारी नानी पर हम,

अम्मा उन्हें बुलाते थे .. !!


जाएं शहर जब भी अपने हम,

उनके घर ही जाते थे ,

खुश हो जातीं देख हमें ,

हम खूब मुदित हो जाते थे ,

उनके हाथों से , बचपन में,

मटन, मलाई खाते थे,

थीं हमारी नानी पर हम,

अम्मा उन्हें बुलाते थे .. !!


काया उनकी कमज़ोर सही पर,

मन उनका बेहद दृढ़ था,

दिल में उनके प्यार भरा ,

आँचल ममता का दर्पण था,

बचपन में, घर उनके रोज़,

कहानी सुनने जाते थे,

थीं हमारी नानी पर हम,

अम्मा उन्हें बुलाते थे .. !!


इष्ट प्रेम के भूखे होंगे,

तभी बुलावा भेजा होगा,

जो सादगी ढूंढ रहे थे,

उनकी हंसी मे देखा होगा,

अब पाएंगे स्नेह वो सारा,

निश्छल, जो हम पाते थे,

थीं हमारी नानी पर हम,

अम्मा उन्हें बुलाते थे .. !!


थीं हमारी नानी पर हम,

अम्मा उन्हें बुलाते थे .. !!



Rate this content
Log in

Similar hindi poem from Tragedy