आकाश
आकाश
नीले आसमान की चाहत है उसे
यूँ पंख लगाकर उड़ने दो
कभी जो छू जाये ये मदमस्त हवाएँ
इन हवाओं के साथ धीमे धीमे बहने दो
कहना चाहती है वो बहुत कुछ
पूरी दुनिया एक कागज़ की
तरह लगने दो
पिरोने दो उसको अपने शब्द
उसे एक कविता बनने दो !!!!
नीले आसमान की चाहत है उसे
यूँ पंख लगाकर उड़ने दो
कभी जो छू जाये ये मदमस्त हवाएँ
इन हवाओं के साथ धीमे धीमे बहने दो
कहना चाहती है वो बहुत कुछ
पूरी दुनिया एक कागज़ की
तरह लगने दो
पिरोने दो उसको अपने शब्द
उसे एक कविता बनने दो !!!!