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Sudhir Srivastava

Abstract

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Sudhir Srivastava

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सुख

सुख

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दु:ख ही सुख

का आनंद जगाता

अच्छा लगता।


सुख आयेगा

दु:ख से डरो नहीं,

जीवन चक्र।


सुख से जिए

अभिमान न करें

यही रीति है।


 हारना नहीं 

दु:ख तो परीक्षा है

सुख के लिए।


घमंड कैसा

आज आप सुखी हो

कल मैं सुखी।


भेद न करो

सुख दु:ख सहना

हमको ही है।


दु:ख के पल

स्थाई नहीं रहेंगे

सुख आयेगा।


सुख दु:ख तो

चोली दामन जैसा

आता जाता है।


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