Nikita Dhulekar
Abstract Inspirational
खुद को ऊँचा करने के लिए
कुछ खुद से ऊँचा करना पड़ेगा!
प्रगती
बुलबुले
सही रास्ते हैं मंज़िल दिलाते, बस, खुद पर तू विश्वास कर ले। सही रास्ते हैं मंज़िल दिलाते, बस, खुद पर तू विश्वास कर ले।
सावन में हुई धरती सुहानी हरदम खेल रही है पानी पानी। सावन में हुई धरती सुहानी हरदम खेल रही है पानी पानी।
सोच समझ कर कौन यहां पर, दिल में राही घर देता है।। सोच समझ कर कौन यहां पर, दिल में राही घर देता है।।
गोद लिए बैठे रहेंगे सलाखों के पीछे, आज कर लो कितना ही चूर। गोद लिए बैठे रहेंगे सलाखों के पीछे, आज कर लो कितना ही चूर।
लेकिन यह शास्वत सत्य है। पुरुष सा कोई नहीं होता है। लेकिन यह शास्वत सत्य है। पुरुष सा कोई नहीं होता है।
आत्मा का वजन माप लो गहराइयों को भांप लो। आत्मा का वजन माप लो गहराइयों को भांप लो।
रहस्य की है काया मात्र खोजकर्ताओं की है छाया मात्र। रहस्य की है काया मात्र खोजकर्ताओं की है छाया मात्र।
वो भी क्या दिन थे ? जब चिट्ठी संदेश लेकर जाती थी। वो भी क्या दिन थे ? जब चिट्ठी संदेश लेकर जाती थी।
आपका जन्मदिन आया, घर में खुशियों भरा वातावरण छाया। आपका जन्मदिन आया, घर में खुशियों भरा वातावरण छाया।
क्यों हम विचार करे इतना... और इस जन्म में जी ले अपनी जिंदगी...। क्यों हम विचार करे इतना... और इस जन्म में जी ले अपनी जिंदगी...।
जन्म हुआ है दुनिया में जीना हमारा अधिकार है जन्म हुआ है दुनिया में जीना हमारा अधिकार है
सुमनों के रंगबिरंगे मोती, आशाओं के धागों में पिरोकर सजा हैं सदन सुहाना, पुष्पमालाओं में सुमनों के रंगबिरंगे मोती, आशाओं के धागों में पिरोकर सजा हैं सदन सुहाना, पुष्प...
ब चमकूं खूब जीऊं जीवन के बाद भी .... ब चमकूं खूब जीऊं जीवन के बाद भी ....
जब अपने ही नहीं रहे अपने तो दिल कि बात किसे बताए। जब अपने ही नहीं रहे अपने तो दिल कि बात किसे बताए।
जीवन जब तक चले उसमें जीना सिखाती हैं।। जीवन जब तक चले उसमें जीना सिखाती हैं।।
रातों में कुचलने तो पैदा किया है ना...नारी को। रातों में कुचलने तो पैदा किया है ना...नारी को।
फ़िर से बनूँगी मैं जंगल की रानी मेरे गहने कुछ कहते हैं। फ़िर से बनूँगी मैं जंगल की रानी मेरे गहने कुछ कहते हैं।
हर चेहरे पर मुस्कान खिल जाए जन्मदिन बन जाये आपका त्योहार। हर चेहरे पर मुस्कान खिल जाए जन्मदिन बन जाये आपका त्योहार।
एक तुम्हारा ही घर नहीं है,बचाने को प्राण हमारा।। एक तुम्हारा ही घर नहीं है,बचाने को प्राण हमारा।।
फूलो की तरह बस खिलते रहो जीवन मे सदा बहार आये। फूलो की तरह बस खिलते रहो जीवन मे सदा बहार आये।