मेरा वतन
मेरा वतन
अपने वतन की तारीफ करूं मैं,
सोने की चिड़िया कहते वतन को मेरे।
वतन की पाकिज़ा मिट्टी में समाए है,
किस्मत वाले वीर जवान हमारे।
मेरे वतन की एक बात खास हैं,
अदब की इसमें मिसाल हैं।
विदेशों से जब भी मेहमान आए हैं,
हमारी संस्कृति को तोहफा समझ के ले गए हैं।
तिरंगा झण्डा जब लहराता हैं,
वतन की शान में चार चाँद लगाता हैं।
नदी झरने जब यहाँ बहते हैं,
मधुर- मधुर आवाज़े सुनाते हैं।
सभी मजहब में एकता पाई जाती है,
मिलकर ईद दीपावली मनाई जाती है।
ऐसा मेरा भारत महान है,
जिसके लिए जान भी कुर्बान है।