STORYMIRROR

VIPIN KUMAR TYAGI

Inspirational

4  

VIPIN KUMAR TYAGI

Inspirational

कोरोना और बर्बादी

कोरोना और बर्बादी

2 mins
174

कोरोना आया रे, कोरोना आया रे, हाय रे हाय कोरोना आया रे,

कभी पहली लहर बनकर, कभी दूसरी लहर बनकर

अब तो तीसरी लहर बनकर कोरोना आया रे,

कहर बनकर तीसरी लहर लाया रे, कोरोना आया रे,


पहली बार जब कोरोना आया था लॉक डाउन भी साथ लाया था

दुनिया की अर्थव्यवस्था को चौपट करने बर्बादी साथ लाया था

अब पुनः वही कोरोना नए तरीके से आया रे, कोरोना आया रे,

दुनिया ने कोरोना की भयावता का मुकाबला, मास्क पहनकर,

हाथों को लगातार सेनिटाइज करते रहने व

सामाजिक दूरी अपनाने से किया फिर भी

कोरोना ने अब अपना स्वरूप बदलकर नए सिरे से कोहराम मचाया रे,

कोरोना आया रे,


वैज्ञानिकों की खोज से वैक्सीन बनी तथा इसके सफल प्रयोग से

दुनिया को उम्मीद जगी की अब कोरोना गया रे,

लेकिन वैक्सीन के साथ ही साथ कोरोना नए स्वरूप में फिर आया रे,

कोरोना आया रे,

तीसरी लहर का कोरोना, पहली व दूसरी लहर से भी ज्यादा संक्रमण

साथ लाया रे, कोरोना आया रे,

अब की बार ज्यादा खतरनाक बन के आया रे, कोरोना आया रे,

पुनः लॉक डाउन का खतरा साथ में लाया रे, कोरोना आया रे,

अर्थव्यवस्था को पुन बर्बाद करने आया रे, कोरोना आया रे,


कोरोना को हराने का अब समय आया रे, जागरूकता, मास्क पहनने ,

सामाजिक दूरी अपनाने व हाथों को सेनिटाइज करते रहने से

कोरोना को भगाने का समय आया रे, कोरोना आया रे,

अपनी इम्यूनिटी बढ़ाने का समय आया रे, कोरोना को हराने का समय

आया रे, कोरोना आया रे,

कोरोना आया रे, कोरोना आया रे, हाय रे हाय कोरोना आया रे,



Rate this content
Log in

Similar hindi poem from Inspirational