कारगिल विजय दिवस
कारगिल विजय दिवस
कारगिल में शहीद हुए,
देश के जो जवान,
देश को बचाते हुए,
गवां गए जो अपनी जान
उन वीरों को मेरा सलाम।
जिन्होंने लौटने का किया था वादा,
पर उन्हें अपना कम,
देश का ख्याल था ज्यादा,
स्वर्ण अक्षरो में, अंकित सदा
रहेगा जिनका नाम
उन वीरों को मेरा सलाम।
जिनके घर अभी आनी थी होली,
मगर वो सीने पर खा गए गोली,
जख्मी होकर भी,
उन्होंने किया कभी न आराम
उन वीरों को मेरा सलाम।
देश के लिए,
अपने प्राणों की बाजी लगा गए,
अपने माँ -पिता, भाई-बहन, बच्चों, पत्नी,
सबको अकेला छोड़ गए,
हँसते-हँसते दम तोड़ गए,
नाज है उन पर हमको,
करते हैं हम उनका सम्मान
उन वीरों को मेरा सलाम।
इतनी ठंड, बर्फीले मौसम में लड़े,
दुश्मन का मुकाबला करने आगे बढ़े,
सहकर वार भी,
पाकिस्तानियों का मुंह तोड़ गए
जिन्होंने किया यह वीरता का काम
उन वीरों को मेरा सलाम।
जिनको हमने देखा नहीं,
जिनके लिए थे हम अजनबी,
मगर हमें बचाते हुए,
सो गए वो, हुआ न उन्हें कोई गम,
युग-युग याद करेंगे हम जिनका नाम
उन वीरों को मेरा सलाम।
कश्मीर बचाया, हमें बचाया,
बचाया पूरे देश को,
देकर अपने प्राणों को,
हमें तो दे गए, जीवन-दान.
उन वीरों को मेरा सलाम।
जीत गए जब हम,
जश्न भी था और था गम,
जीत का जश्न मनाने,
मौजूद नहीं थे वो,
चले गए अनजाने लोक में,
बचाकर अपनी मातृभूमी महान.
उन वीरों को मेरा सलाम।
२६ जुलाई को मनाते हैं
हम ‘कारगिल विजय दिवस’,
हमें सदा रहेगा भारतीय सैनिकों पर नाज,
वो रहेंगे हमारे लिए सदा खास,
उन्होंने ही बनाया भारत को महान
उन वीरों को मेरा सलाम।