यही जिंदगी है
यही जिंदगी है
यह जिंदगी है, मेरे प्रिय जन
गिरेंगे नहीं तो, खड़े कैसे होंगे ।
गिरेंगे नहीं तो, खड़े कैसे होंगे ।
टूटेंगे नहीं तो, सीखेंगे कैसे ।
लौट कर आने इस मन को उम्मीद नहीं तेरी,
पर इस दिल को तेरा बहुत इंतजार है ।
बिखरेंगे नहीं तो, निखरेंगे कैसे ।
उलझेंगे नहीं, तो सुलझेंगे कैसे ।
प्रियजन यही जिंदगी का उसूल है।
