रात का अंधेरा
रात का अंधेरा
रात का अंधेरा
गहरा ही सही
कल फिर नई
सुबह होगी
आज निराशा है तो
कल ख़ुशियाँ भी
दस्तक देगी
थोड़ा सबर तो कर ले
ऐ इन्सान...
तेरी भी
मुराद पूरी होगी।
रात का अंधेरा
गहरा ही सही
कल फिर नई
सुबह होगी
आज निराशा है तो
कल ख़ुशियाँ भी
दस्तक देगी
थोड़ा सबर तो कर ले
ऐ इन्सान...
तेरी भी
मुराद पूरी होगी।