मृत्यु - २

मृत्यु - २

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किस कदर निर्मम हो !

नवजात शिशु को

उसकी माँ से जुदा कर देती हो।

बहने राखी लिए सूने नैनों से

द्वार ताकती रह जाती हैं।


प्रेमी अपनी प्राण प्रिया को

गली कूचों में ढूंढता फिरता है।

कैसे इतनी निष्ठुर हो?

किसी की पीर पर

हृदय नहीं पिघलता तुम्हारा?


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