STORYMIRROR

रेनू जैन 'अक्स'

Others

2  

रेनू जैन 'अक्स'

Others

मृत्यु - १

मृत्यु - १

1 min
340

कोई सन्त महात्मा हो !

तुमसे भेंट होते ही,

पीड़ा से तड़पती

पल पल त्राहि त्राहि करती

अपनी सखी के मुख पर

एक असीम सुकून, 

एक अद्भुत स्मित देखा है मैंने।

रात रात भर करवटें बदलती,

अब गहरी मीठी नींद सोई थी।


Rate this content
Log in