जीना तुम्हीं सिखाती
जीना तुम्हीं सिखाती
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माँ तेरे छाँव में बहुत सुकून है
दिल में प्यार आँखों मे नूर है
हर एक एहसास तुझसे है जुड़ा माँ
माँ तेरे आँचल में समाया कोहिनूर है
कहे अनकहे अल्फाज समझ जाती हो माँ
धड़कन की धक-धक को सुलझाती हो माँ
जरा सी चोट लगने पे तेरा ही नाम लब पे होता
जीवन का एहसास तुमसे जीना तुम्हीं सिखाती मां।