इंसानियत की पहचान
इंसानियत की पहचान
कब से कब तक चलेगी यह लड़ाई।
खुद पर कर यकीन ।।
जीतना है हमें यकीनन एक दिन।
दान किया कोई, जान दिया कोई
हर कतरा कतरा खून का ।।
इस देश के लिए है बहाया , कोई
मानवता की लड़ाई है जितना, हमें।।
दूर रहकर करना है, पालन नियमों का
मानवता की लड़ाई है जितना, हमें।।
उन उद्देश्यों को मानकर है जीना, हमें।
धरती मां है अब शांत, हमें मन का आराम चाहिए।।
खुद को करना है बुलंद हर वक्त हर पहर।
बैर नहीं किसी से, दिल में अब बस राम चाहिए।।
मानवता की यह लड़ाई जीतना है हमें।
मिलकर सबसे रहना है हमें हमको यह सीखना भी चाहिए।।