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Somya Agrawal

Abstract

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Somya Agrawal

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बेपनाह कोविड ‌

बेपनाह कोविड ‌

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हो-ना हो-ना कोविड कोविड ,

तेरी राहेे कहां कहां..

क्यों आया तू, सबको माारने

मंजिल तेरी , है कौन सी,


यहां से तूू अब , दफा हो जा।

ऐसा कोविड फिर  हो-ना-हो ,

सब वैक्सीन पर, ही तो है,

बेपनाह डर है, अब भााग जा

तेरा वक्त है, अब चलें जा।।।।


                     

    धुन,,     

  " सूूूना सूना , लम्हा लम्हा.........................................तेरा इंतज़ार है आजा।।।।"


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