STORYMIRROR

REENA JAGLAN

Inspirational

4  

REENA JAGLAN

Inspirational

"बापू गांधी "

"बापू गांधी "

1 min
404


 

फिरंगी ने जब सितम बढ़ाया। निहत्थे बेकसूरो पर जुल्म ढाया।

तब एक युगपुरुष आगे आया।

मोहनदास करमचंद गांधी।।

तब आई जग में अहिंसा परमो धर्म की आंधी।।


सब धर्मों को मिल जुल कर रहना सिखाया।

जाति-पाति का भेद मिटाया।

स्वराज लेकर रहेंगे अंग्रेजों को चेताया।।


किया बहिष्कार विदेशी माल का।

तब खुद हाथ से चरखा चलाया।

बनाया स्वावलंबी और स्वदेशी अपनाया।।


छुआछूत और शोषित का भेद मिटाया।

किया मजबूर अंग्रेजों को गोलमेज पर तब हाथ बढ़ाया।।


अंग्रेजों ने जब सितम बढ़ाया।

निहत्थे बेकसूरों पर जुल्म ढाया।

एक युगपुरुष सामने आया।।


नंगा बदन, कद छोटा।

मिलो चलकर नमक कर तौड़ा

सत्य -अहिंसा की ओर जनमानस को मोड़ा।।


सामान्य से व्यक्ति ने इतिहास बनाया।

सुप्त पड़े शेर को जगाया।


बिना तीर ,बिना तलवार ,बिना कलम बिना हथियार ,

हिंद को आजाद कराया।।

आजादी का जज्बा हर भारतीय में जगाया।


फिरंगी ने जब सितम बढ़ाया। निहत्थे बेकसूरो पर जुल्म ढाया।

तब एक युगपुरुष आगे आया। मोहनदास करमचंद गांधी ।।

तब आई जग में अहिंसा परमो धर्म की आंधी।   


Rate this content
Log in

Similar hindi poem from Inspirational