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shalini yadav

Classics

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shalini yadav

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आख़िर क्यूँ

आख़िर क्यूँ

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आख़िर लोग क्यूँ कहते हैं कि

मनुष्य को फल उसके कर्म के

अनुसार मिलता है,


अगर ऐसा है तो क्यूँ

एक मासूम अनाथ हो जाता है,

एक मासूम के

कैसे कर्म होने चाहिए ?


क्या वो इतना

बड़ा गुनाहगार है कि,

बिना उसके जाने

उससे उसकी दुनिया

दूर हो जाती है।


आख़िर लोग क्यूँ कहते हैं कि

हम दुनिया में अकेले आए हैं

और अकेले जाएँगे।


जब एक बच्चा

इस दुनिया में आता है तो

वो ढेर सारी खुशी

लेकर आता है,


दर्द में होकर भी

माँ के अंदर

एक खुशी लेकर आता है,


और जब कोई

इस दुनिया को छोड़ता है तो,

वो किसी के अच्छे पल

अपने साथ लेकर जाता है।


किसी का प्यार

अपने साथ लेकर जाता है

किसी की खुशी

अपने साथ लेकर जाता है

जो शायद कभी

लौट कर नहीं आती।


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