हमारी पथदर्शक - हमारी मैम
हमारी पथदर्शक - हमारी मैम
आरती मैम, विद्यालय की एक कर्मठ एवं अनुशासित शिक्षिका । कक्षा के सभी बच्चों को अनुशासन में रखने का जिम्मा उठाया हुआ है उन्होंने। कर्मठ होने के साथ कुशल शिक्षिका भी हैं।रात रात भर जाग कर हमारे लिए नोट्स बनाती हैं वे। परिवार तो हल्द्वानी में है। यहां अकेली रहती हैं ,किराये का कमरा है । स्कूल में पढ़ाने वाले ज्यादातर टीचर उसी बिल्डिंग में किराए पर रहते हैं।
वैसे तो बहुत दयालु हैं लेकिन जब गुस्सा आ गया तो किसी की खैर नहीं । हमारे तो हाथ पैर कांपने लगते हैं। लेकिन है बहुत न्याय प्रिय, विद्यालय में हमारे झगड़ों को किसी वकील की तरह मामले को समझकर बड़ी अच्छी तरह से मामला सुलझा देती है । अतः कोई भी विवाद पर दोनों पक्षों द्वारा उनका ही दरवाजा खटखटाया जाता है। मैम भी हमारा
निष्पक्ष न्याय किए देती है ।जरूरत के अनुसार प्रसाद भी दे दिया करतीं ।
पर पढ़ाई के मामले में बहुत कठोर हैं। पढ़ाई के वक्त उन्हें कोई मजाक पसंद नही है , वे बच्चों के साथ बहुत मजाक करती है, तरह तरह के खेल भी खेलती हैं। हमें कई जगह घुमाने ले जाती , इधर उधर प्रतियोगिताओं में ले जाती । हमें सफलता हासिल करते देख वे फूले नहीं समातीं । और हमारी सफलता प्राप्त के लिए रात दिन एक कर देने वाली शिक्षिका है हमारी मैम। शायद ही उनसे अच्छा कोई शिक्षक होगा ।हमारी मदद के लिए हमेशा तत्पर रहने वाली मैम का मैं धन्यवाद अदा करता हूं जो हमें निस्वार्थ भाव से पढ़ाकर हमें उस काबिल बना रही है कि हम भविष्य में लक्ष्य प्राप्त कर सकें।
