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Shashi Joshi

Inspirational

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Shashi Joshi

Inspirational

उन आंखों में रंग भरें..!

उन आंखों में रंग भरें..!

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हो ये कोशिश टूट न पाए कोमल स्वप्न किसी का।

उन आंखों में रंग भरें जिनका हो फागुन फीका।


बच्चों सी मासूम हंसी हर चेहरे पर लहराए।

खुशबू में भीगी पुरवैया नया सवेरा लाए।

प्रेम के मस्तक पर लग जाए,विश्वासों का टीका।


दूर उदासी हो सबकी,हर आंगन खिला - खिला हो।

घोर अंधेरे में भी,आशा का एक दीया जला हो।

कहीं कपट न हो,अब निखरे निश्छल रूप सभी का।


जलते मौसम की खातिर रस - भीना सावन लाएं।

इस मुरझाते उपवन का हम फूल - फूल महकाएं ।

लहराए धानी आंचल यूं खिले रूप धरती का।


उन आंखों में रंग भरें ,जिनका हो फागुन फीका।


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