अब मंजिल को है पाना...
अब मंजिल को है पाना...
तू आगे बढ़ तू आगे बढ़
पुकारे तुझको मंजिल
एक नया इतिहास बनाने
हो जा तू भी शामिल
नेकी की राहो पे चल तू
किसने तुझको रोका
आंधी से भी डटकर लड़ तू
समझ के सुनहरा मौका
कौन तेरा और कौन पराया
तू किसकी काहे सुनता?
मुश्किलों से डरकर भाई
तू आसानी क्यूँ है चुनता?
आगे अंधेरा कितना गहरा
पर जिद तेरी परछाई
मार छलांग समंदर में तू
काहे गिनता गहराईं
ऊंची उड़ान होगी तेरी
अब देखेगा सारा जमाना
कर बुलंद हौसला रे साथी
अब मंजिल को है पाना...
साथी मंजिल को है पाना