कवि लेखक लिख रख गये,सुख दुःख काँटे फूल अलमारी में पुस्तकें ,फांक रही हैं धूल। कवि लेखक लिख रख गये,सुख दुःख काँटे फूल अलमारी में पुस्तकें ,फांक रही हैं धूल।
पुस्तकें है हर युग की नारी पुस्तकें है हर युग की नारी
काश, आग समझदार हो जाए। काश, आग समझदार हो जाए।
एक अकेली जान और इतनी सारी पुस्तकें, काश खुदा इस धरती पर, लेखक पैदा ना होते! एक अकेली जान और इतनी सारी पुस्तकें, काश खुदा इस धरती पर, लेखक पैदा ना होते!
पुस्तकें हमारी सच्ची मित्र है, उनसे दोस्ती करो। अपने मन मस्तिष्क को। पुस्तकें हमारी सच्ची मित्र है, उनसे दोस्ती करो। अपने मन मस्तिष्क को।
पुस्तकें वर्तमान अस्त्र है। इससे बड़ा न कोई शस्त्र है।। पुस्तकें वर्तमान अस्त्र है। इससे बड़ा न कोई शस्त्र है।।