सफर
सफर
बडा अनजान सफर है ये
मंजिल की कोई खबर नहीं
लगता था बहुत ,आसान है सब,
पर कुछ भी आसान नहीं।
जीते दूजो की खुशी के लिए
अपने पर अपना ध्यान नहीं
करते करते ही मर जाओ,
नहीं तो जग मेम नाम नहीं।
मिलते अनजान लोग यहाँ
पर हर कोई दरकार नहीं
सीखा जीना अब खुद के लिये
पर हमको अभिमान नहीं।
बडा अनजान सफर है ये
मंजिल की कोई खबर नहीं
लगता था बहुत आसान है सब,
पर कुछ भी आसान नहींं।