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Smita Gupta

Abstract

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Smita Gupta

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श्रद्धांजलि

श्रद्धांजलि

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श्रद्धांजलि : शहीद जवान   


ख़त्म हुआ सफ़र इक छोटी सी उम्र में 

ख़त्म हुआ अस्तित्व बस कुछ ही पल में 

कल तक जो लड़ रहा था 

कल तक जो जी रहा था 

आज क्यों खामोश पड़ा है वो 

छोड़ अपने अंश वंश 

छोड़ अपने लोग वतन 

छोड़ अपनी दुनिया जहाँ 

गुम हो गया मौतके अंधरे में वो 

क्या थी गलतियाँ उन जवानों की 

पल भर में छीन गयी सांसे जिनकी 

क्यों छीन ली उसकी सांसे 

क्यों छीना एक माँ का सहारा 

क्यों छीना एक पत्नी का सुहाग तुमने 

और क्यों किया उनके बच्चो को अनाथ 

क्या कसूर था उन जवानों का 

जिनके सीने में दाग दी गोली तुमने 

हँसता खेलता परिवार 

हँसता खेलता देश भर गया आंसुओ में 

ख़त्म हुआ अस्त्तिव , राख हुआ शरीर 

शहीद हुए जवान बस कुछ ही पल में ..



 श्रद्धांजलि है इन वीर शहीदो को।।।


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