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Anjali Pundir

Others

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Anjali Pundir

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गुनगुनी धूप

गुनगुनी धूप

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गुनगुनी धूप अब भाने लगी है

सर्दी की आहटें आने लगी हैं


गरम कपड़ों की सिलवटें भी

आजादी के सुर गुनगुनाने लगी हैं

गुनगुनी धूप अब भाने लगी है


छत पर पंख पसारे अलसाई-सी गोरैया

धूप में सुस्ताने आने लगी है

गुनगुनी धूप अब भाने लगी है


भास्कर की दक्षिणायन चितवन

उर में सिहरन-सी जगाने लगी है

गुनगुनी धूप अब भाने लगी है


हवा के तेवर भी तीखे हुए हैं

भोर में आकर सिहराने लगी है

गुनगुनी धूप अब भाने लगी है


सुदूर बसे पहाड़ों के शहर से

बर्फबारी की खबर आने लगी है

गुनगुनी धूप अब भाने लगी है


तिल-मूँगफली की भीनी गंध

मन को कुछ ज्यादा ही ललचाने लगी है

गुनगुनी धूप अब भाने लगी है


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