उजाले और अंधेरे के संगम पर मजा ही मजा है। उजाले और अंधेरे के संगम पर मजा ही मजा है।
ये जिस्म की चमचमाती इमारत इन दरख्तों की तरह। ये जिस्म की चमचमाती इमारत इन दरख्तों की तरह।
किसी की लाश में भी जान फूँक देने वाली थी मैं, फिर आज ना जाने क्यूँ खुद के बेजान जिस्म से सिहर सी ग... किसी की लाश में भी जान फूँक देने वाली थी मैं, फिर आज ना जाने क्यूँ खुद के बेजा...
दिन रात सिसकती है उम्मीद अरमान कहीं लुट जाता है। दिन रात सिसकती है उम्मीद अरमान कहीं लुट जाता है।
सूनी पड़ी वो बगिया जो सिर्फ आपसे ही महकती थीI सूनी पड़ी वो बगिया जो सिर्फ आपसे ही महकती थीI
मैं कहूँ हरि ही मेरा विश्वास हैं, इसलिए हर समय विश्वास पर गहराता मेरा विश्वास है। मैं कहूँ हरि ही मेरा विश्वास हैं, इसलिए हर समय विश्वास पर गहराता मेरा विश्वा...