हमने भी आपके साये में रहकर कलरव करना सीखा है हमने भी आपके साये में रहकर कलरव करना सीखा है
दुनिया में जब तक हूँ, दूसरों के लबों पे, मुस्कान बन बिखर जाऊँ दुनिया में जब तक हूँ, दूसरों के लबों पे, मुस्कान बन बिखर जाऊँ
याद करना, मैं दिखूंगा हर-कदम। मैं पिता हूँ। याद करना, मैं दिखूंगा हर-कदम। मैं पिता हूँ।
महानदी किनारे है सम्बलपुर, भीमा नदी किनारे है पंढरपुर।। महानदी किनारे है सम्बलपुर, भीमा नदी किनारे है पंढरपुर।।
एक बेटी के जज्बात बयाँ करने की कोशिश, जिसके पापा उसे छोटी सी उम्र में छोड़कर इस दुनिया से चले जाते ह... एक बेटी के जज्बात बयाँ करने की कोशिश, जिसके पापा उसे छोटी सी उम्र में छोड़कर इस ...