ऐसे ही रूठी तो में खुद से हूँ फिर मुझे कोई और कैसे मनाएगा ऐसे ही रूठी तो में खुद से हूँ फिर मुझे कोई और कैसे मनाएगा
कुछ इस तरह से हमसे रूठी है जिंदगी की लग रहा बस सांसें चल रही कुछ इस तरह से हमसे रूठी है जिंदगी की लग रहा बस सांसें चल रही
तू रूठी रूठी सी क्यों है मुझसे ऐ जिंदगी बता मुझे मेरी क्या है खता ऐ जिंदगी तू रूठी रूठी सी क्यों है मुझसे ऐ जिंदगी बता मुझे मेरी क्या है खता ऐ जिंदगी
टूटी ख़्वाहिशें, रूठी तकदीर है कोई क्या करे। टूटी ख़्वाहिशें, रूठी तकदीर है कोई क्या करे।
दम उसका भी घुटता था इस बात से, वह भी रूठी हुई थी इस समाज से, दम उसका भी घुटता था इस बात से, वह भी रूठी हुई थी इस समाज से,
खुद की इतराहट में ही चूर हो गयी है, खुशी हमारी हमसे रुठ गयी है,, रुठ गयी है,, रुठ गयी खुद की इतराहट में ही चूर हो गयी है, खुशी हमारी हमसे रुठ गयी है,, रुठ गयी है,...