पराये सभी हो गये है अपने यहाँ तो रिश्तों की टूटी डोर है पराये सभी हो गये है अपने यहाँ तो रिश्तों की टूटी डोर है
उसकी फ़ितरत इंसानों से अलग है, वो आख़िरी साँस तक साथ निभाऐगी।हाँ सच ही तो, याद ही तो मेरी जागीर है।.... उसकी फ़ितरत इंसानों से अलग है, वो आख़िरी साँस तक साथ निभाऐगी।हाँ सच ही तो, याद ह...
काटें न कभी दग़ा के देना की फूल सदा वफ़ा भरा दे काटें न कभी दग़ा के देना की फूल सदा वफ़ा भरा दे
हर दिन हमारी आँखों के सामने, हमारे आसपास इंसानियत का कत्ल होता है और हम कुछ करना तो दूर कुछ कहते भी ... हर दिन हमारी आँखों के सामने, हमारे आसपास इंसानियत का कत्ल होता है और हम कुछ करना...