दुआओं में नहीं असर अब क्या कहूं, नींद नहीं आंखों में, ये भी हर पल जगी है, धोखा देने ल दुआओं में नहीं असर अब क्या कहूं, नींद नहीं आंखों में, ये भी हर पल जगी है, ...
उनके बिना हम अधुरे थे, उन्हें सब पता था, जानते थे, फिर भी मुझे सताते थे। उनके बिना हम अधुरे थे, उन्हें सब पता था, जानते थे, फिर भी मुझे सताते थे।
इस दिल में तेरी हाँ सुनने की वो चाहत, आज भी कहीं बाकी है। इस दिल में तेरी हाँ सुनने की वो चाहत, आज भी कहीं बाकी है।
थक गई हूँ खामोशी की वजह ढूँढते ढूँढते, कभी तो शान्त करते अन्दर का ये समन्दर। थक गई हूँ खामोशी की वजह ढूँढते ढूँढते, कभी तो शान्त करते अन्दर का ये समन्दर...