तुझे हर घड़ी अपने पास ही पाती हूँ, माँ, मैं तुझ जैसी हो जाती हूँ। तुझे हर घड़ी अपने पास ही पाती हूँ, माँ, मैं तुझ जैसी हो जाती हूँ।
जिसे भूल चले थे ज़माने से, हमेशा के लिए उसके सो जाने से यह एहसास हुआ कि क्या सो गया है सालो... जिसे भूल चले थे ज़माने से, हमेशा के लिए उसके सो जाने से यह एहसास हुआ कि ...
मेरे लिए उसकी अभी जरूरत नहीं तुम्हारी राह तो नहीं ताक रहे। मेरे लिए उसकी अभी जरूरत नहीं तुम्हारी राह तो नहीं ताक रहे।
जब दादी की कहानियाँ नींद को बुलाती थी, जब त्यौहार पूरा परिवार मानाता था, जब दुख हमारा नहीं, पराया ... जब दादी की कहानियाँ नींद को बुलाती थी, जब त्यौहार पूरा परिवार मानाता था, जब दु...
मैं अभी भी ज़िंदा हूँ क्योंकि मैं मरना नहीं चाहती मुर्दों के शहर में सड़ी-गली परंपराओं के बीच मैं अभी भी ज़िंदा हूँ क्योंकि मैं मरना नहीं चाहती मुर्दों के शहर में सड़ी-ग...
यारों के साथ कक्षा की आखिरी बैंच पे कागज़ की नाव बनानी है यारों के साथ कक्षा की आखिरी बैंच पे कागज़ की नाव बनानी है