जिसकी कोख में सृजन हुआ वही हैं भाग्य विधाता। जिसकी कोख में सृजन हुआ वही हैं भाग्य विधाता।
दुश्मन को मज़ा चखाएंगे हम कसम है भारत माता की। दुश्मन को मज़ा चखाएंगे हम कसम है भारत माता की।
तेरी लीला तू ही जाने, मुझको कुछ भी समझ न आया। तेरी लीला तू ही जाने, मुझको कुछ भी समझ न आया।
मन का हिरण कुलाँचे भरता जा रहा था। मन का हिरण कुलाँचे भरता जा रहा था।
सुबह की बेला थी होने को शाम में परिणत। प्रतीत हो रहा था मानो वो भी हो मेरे संताप में रत। कोलाह... सुबह की बेला थी होने को शाम में परिणत। प्रतीत हो रहा था मानो वो भी हो मेरे सं...
जो पंछी थक कर सो गए रात में आज वो फिर चहचहाने को है जो पंछी थक कर सो गए रात में आज वो फिर चहचहाने को है