माँ साल में एक बार मातृ दिवस भी मना लिया करता हूं। माँ साल में एक बार मातृ दिवस भी मना लिया करता हूं।
सब्र थोड़ा तो कर, इन्साफ करेगा तेरा वो रब। सब्र थोड़ा तो कर, इन्साफ करेगा तेरा वो रब।
रात बीतेगी सुबह आएगी बहती हुई पवन पुरवा सुनाएगी। रात बीतेगी सुबह आएगी बहती हुई पवन पुरवा सुनाएगी।
तुमसे प्यार जो किया बस एक भूल हो गई। तुमसे प्यार जो किया बस एक भूल हो गई।
बेलगाम, बेपरवाह अलमस्त, सिरफिरी सी मैं, अपने ही उठाये सवालों के जवाब ढूंढती मैं, बेलगाम, बेपरवाह अलमस्त, सिरफिरी सी मैं, अपने ही उठाये सवालों के जवाब ...
मन की बहती धारा को अंदर तक मानो हिला गया। मन की बहती धारा को अंदर तक मानो हिला गया।