लेकिन प्यारे खेल को वक्त देना, मन की भी मजबूरी है। लेकिन प्यारे खेल को वक्त देना, मन की भी मजबूरी है।
शाखाओं से लटकती लम्बी-लम्बी डोर जिसपर झूलते बेफ़िक्री में बच्चे हर ओर शाखाओं से लटकती लम्बी-लम्बी डोर जिसपर झूलते बेफ़िक्री में बच्चे हर ओर
सर्द करती है तेरी गर्मी-ए-बाज़ार मुझे। सर्द करती है तेरी गर्मी-ए-बाज़ार मुझे।
किस-किस को दवा दें, मरहम लगाएं कहाँ-कहाँ ? डॉक्टर भी परेशान हैं… पूरा माहौल ही बीमार है ! किस-किस को दवा दें, मरहम लगाएं कहाँ-कहाँ ? डॉक्टर भी परेशान हैं… पूरा माहौल ह...
नटखट थे हम इतने की उसे बहुत रुलाया होगा। नटखट थे हम इतने की उसे बहुत रुलाया होगा।
ब्याह दिया राघव ने बेटा पूरी की घर भर की चाहत नन्ही कुसुमी बहू बन आई बूढ़ी माँ ने पाई राहत ब्याह दिया राघव ने बेटा पूरी की घर भर की चाहत नन्ही कुसुमी बहू बन आई बू...