हम हिन्दुस्तानी
हम हिन्दुस्तानी
हिन्द के वासी हम हिन्दुस्तानी
न्याय, सद्भावना व दोस्ती के लिए
इकट्ठे रहने की परम्परा
निभाते रहने का उठाया हलफ़।
द्रोणाचार्य आश्रम में पहला पाठ - क्रोध न करो
युधिष्ठिर बार-बार पढ़ते - क्रोध न करो
भीम, अर्जुन, नकुल, सहदेव
बाकी लोग बहुत आगे बढ़ गए।
हम हिन्दुस्तानी धर्मराज युधिष्ठिर की तरह
उसी पाठ की सार्थकतासम्माहित करते रहे
एकलव्य की तरह गुरु भक्ति में
अंगूठा कटवाते रहे।
अर्जुन की तरह लक्ष्य साधते रहे
अजंता-एलोरा की कला परखते रहे
मंदिर-मस्जिद में सजदे की मंशा मानते हुए
पूजा-स्थल को पूजने के भेद को भेदते रहे।
सांसों की लय, धड़कन की ताल पर
बांधने के सुर को सीखते रहे
इक-दूजे की सलामती के लिए
दुआओं की ज़रूरत को जानते रहे।
कानूनविद समझाएं इस धारा में यह मिलेगा
उस धारा में वह मिलेगा
हम हर धारा में बहते रहे
हर क़िस्म की तालीम लेते रहे।
शायद हिन्दुस्तानी की कोई ऐसी परिभाषा है
जो अब तक हम नहीं जाने
तो हमें बता दें
हिन्दुस्तानी होने का कोई अन्य मतलब!
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