कह रहे हो आज़ाद हो तुम पर क्या सच में तुम आज़ाद हो। कह रहे हो आज़ाद हो तुम पर क्या सच में तुम आज़ाद हो।
ढूंढ रहा तन मन तुम्हें, पुकार रही वतन तुम्हें , तेरे आने की उम्मीद में। ढूंढ रहा तन मन तुम्हें, पुकार रही वतन तुम्हें , तेरे आने की उम्म...
अहिंसा के पुजारी हुआ करते थे कभी अब संसद में भी मारपीट करने लगे हैं। अहिंसा के पुजारी हुआ करते थे कभी अब संसद में भी मारपीट करने लगे हैं।
बस मैं और तू का मिलकर बने जो एक वो हम कहाँ हैं ? बस मैं और तू का मिलकर बने जो एक वो हम कहाँ हैं ?
देश हमारा सबसे प्यारा , अपनी आंख का तारा है । देश हमारा सबसे प्यारा , अपनी आंख का तारा है ।
आज़ादी हक़ भी है अपना अपनी जिम्मेदारी भी हम सबको मिल कर है करनी। आज़ादी हक़ भी है अपना अपनी जिम्मेदारी भी हम सबको मिल कर है करनी।