मैंने शादी नहीं कि यार। तू तो जानती है मैं बंधन पसंद नहीं करती मैंने शादी नहीं कि यार। तू तो जानती है मैं बंधन पसंद नहीं करती
जो जीना चाहे उसे दुनिया की कोई ताकत मार हीं नहीं सकती जो जीना चाहे उसे दुनिया की कोई ताकत मार हीं नहीं सकती
अखिल की स्थिति पगलों जैसी हो गई थी। वह अपने माता-पिता को याद करके परेशान हो जाता था। अखिल की स्थिति पगलों जैसी हो गई थी। वह अपने माता-पिता को याद करके परेशान हो जाता...
कुदरत के आगे सभी विवश हैं। कुदरत के आगे सभी विवश हैं।
तुम मुझे हमेशा मुस्कुराती मिलोगी.. ऐसी रोनी शक्ल में नहीं। तुम मुझे हमेशा मुस्कुराती मिलोगी.. ऐसी रोनी शक्ल में नहीं।
कुछ कारणों वश फार्मेसी करनी पड़ी और आज मैं अपने इस काम को एंजॉय करती हूं। कुछ कारणों वश फार्मेसी करनी पड़ी और आज मैं अपने इस काम को एंजॉय करती हूं।