श्री शुकदेव जी कहते हैं परीक्षित शरद ऋतू आई थी व्रज में। श्री शुकदेव जी कहते हैं परीक्षित शरद ऋतू आई थी व्रज में।
हे कन्हैया बंसी बजैया, मुरली अपनी बजाओ ना...! हे कन्हैया बंसी बजैया, मुरली अपनी बजाओ ना...!
युग पुरुष के आगमन का शंख बजाया तुमने।।। श्री शिवनारायण जौहरी विमल यशोदा के लाल श्रीकृष्ण। युग पुरुष के आगमन का शंख बजाया तुमने।।। श्री शिवनारायण जौहरी विमल यशोदा के ला...
तू है वृंदावनका राज़ा, मै बरसाना की रानी। तू है वृंदावनका राज़ा, मै बरसाना की रानी।
मोर, कोयल और पपिहरा को, मधुर गान गवाता है मोर, कोयल और पपिहरा को, मधुर गान गवाता है
आज जन्माष्टमी का है त्यौहार ,प्यार को समर्पित है त्यौहार! आज जन्माष्टमी का है त्यौहार ,प्यार को समर्पित है त्यौहार!