आगोश में ख़्वाब देखने के लिये आगोश में ख़्वाब देखने के लिये
अधर तेरे जलते दिये से; लफ्ज़ तेरे जलती बाती से; मुस्कान तेरी उसकी लौ सी... अधर तेरे जलते दिये से; लफ्ज़ तेरे जलती बाती से; मुस्कान तेरी उसकी लौ सी....
समुन्दर को में फिरदौस का गुलशन कर दूँ ये गलतफहमी ना पालना जानम समुन्दर को में फिरदौस का गुलशन कर दूँ ये गलतफहमी ना पालना जानम
ख़ुशी की आस, मत रखना.... ग़म बेचते है लोग यहाॅं... ख़रीदने की हैसियत ऱख सको, तो चलो...! ख़ुशी की आस, मत रखना.... ग़म बेचते है लोग यहाॅं... ख़रीदने की हैसियत ऱख सको...