सच उसके ही तर्क, हाथ जो थामे डोरी। सच उसके ही तर्क, हाथ जो थामे डोरी।
जो नाचता ही जा रहा था लगातार...लगातार जो नाचता ही जा रहा था लगातार...लगातार
मिर्च बिचारी खड़ी-ख़डी शरमा रही है देखो खाना परोसने में भी घबरा रही है देखो। मिर्च बिचारी खड़ी-ख़डी शरमा रही है देखो खाना परोसने में भी घबरा रही है ...
मोर नाच कर भी रोता है, कि वो उड़ नहीं सकता ! बाज़ ऊँचा उड़ कर भी रोता है, कि वो रह गया है तन्हा !! मोर नाच कर भी रोता है, कि वो उड़ नहीं सकता ! बाज़ ऊँचा उड़ कर भी रोता है, कि वो ...
ज़िन्दगी का झोल समझ न आये , गणित बीच में आके नाच नचाए। ज़िन्दगी का झोल समझ न आये , गणित बीच में आके नाच नचाए।
आँखें खुली हो ये कतई ज़रूरी नहीं ज़रूरत है समझ विकसित करने की आँखें खुली हो ये कतई ज़रूरी नहीं ज़रूरत है समझ विकसित करने की