किसी द्वीप पर किसी द्वीप पर
राग-द्वेष सभी मिटाना तुम दीप पर्व अबकी जब मनाना तुम। राग-द्वेष सभी मिटाना तुम दीप पर्व अबकी जब मनाना तुम।
द्वीप जलो तुम मार्ग दर्शक हो जलो ! द्वीप जलो तुम मार्ग दर्शक हो जलो !
प्यार भरे स्वप्निल जज़्बात लिये दो दिलों की कहानी ,कवि की ज़ुबानी प्यार भरे स्वप्निल जज़्बात लिये दो दिलों की कहानी ,कवि की ज़ुबानी
Budha sa ped Budha sa ped
महाभारत में विजेता होने से बेहतर है अपराजित ही रह जाना महाभारत में विजेता होने से बेहतर है अपराजित ही रह जाना