याद
याद
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भूली बिसरी कोई निशानी
और कोई फ़साना याद आया,
पानी का झरना याद आया,
और कोई किनारा याद आया,
कोयल की बोली याद आई,
और कोई तराना याद आया,
अनसुनी कहानी याद आई,
और गीत पुराना याद आया,
पेड़ों का बढ़ना याद आया,
रस्ते पर चलना याद आया,
किसी की खुशी याद आई,
किसी का मुस्कुराना याद आया,
किसी की हँसी याद आई,
किसी के आंखों का पानी याद आया,
वक्त कहता है मुझसे कि बीते कल की यादें भुला
और आने वाले कल को याद तू कर
पर जब बीता हुआ कल याद आया
तब गुज़रा ज़माना याद आया।