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Pranita Meshram

Others

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Pranita Meshram

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तुझे वजूद की तलाश है

तुझे वजूद की तलाश है

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तुझे वजूद की तलाश है, 

तो चल निकल प्रकाश में। 

तेरे भीतर ही आस बैठी है, 

अंधेरों में छिपी निकास में।

तुझे दुश्मनों से खौफ है? 

तू उठ खड़ा हो मैदान में,

तुझे जीत की होगी चिंता, 

न हार का होगा भय। 


खुद को निकाल आज खौफ से, 

आ जंग के जहान में। 

दिल में इतने ख्वाब तू, 

रख रहा कमाल है।

पर खुद को नीचे रखना भी, 

छोड़ दें आज से। 

तेरे अश्क को संभालकर, 

तू रख ले अपनी जेब में। 

माथे की इस शिकन को मिटा, 

तू बस एक इंकलाब से।

तुझे वजूद की तलाश है, 

तो चल निकल प्रकाश में ।


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