लोधी कॉलोनी नई दिल्ली - 110003 chini2023@gmail.com विजय लक्ष्मी शर्मा व्यक्तिगत जानकारी माता - श्रीमती चंद्रकला भट्ट पिता - श्री धर्मानंद भट्ट पति - प्रवीण कुमार शर्मा पुत्र - लक्ष शर्मा पुत्री - चहल शर्मा संक्षिप्त परिचय उत्तराखंड के छोटे से गाँव मलेथा में जन्म... Read more
Share with friendsवर्षों से परतों की तह में दबी यादों को जब निम्मी ने कुरेदा तो एक एक कर तह खुलती गई!
Submitted on 16 Aug, 2020 at 11:47 AM
प्रदूषण कम हुआ तो आसमान नीला दिखने लगा, नदियाँ साफ़ हो गई
Submitted on 27 Jul, 2020 at 09:38 AM
कुछ वर्ष पहले रोज ही तो बर्फ का शिवलिंग और साथ में बर्फ का ही अर्ध चंद्र दिखता था!
Submitted on 15 Jun, 2020 at 16:26 PM
सपनों में लगती हैं सपनों सी बातें अपनी सी लगती हैं ये सपनों की बातें।
Submitted on 03 May, 2020 at 12:04 PM
सभी नियमित कार्य तो करने ही हैं साथ में कुछ पढ़ना लिखना जारी है..द
Submitted on 02 May, 2020 at 11:49 AM
जो बच निकलेंगे वो कहानियाँ सुनाएँगे जो चले जाएँगे वो कहानियाँ बन जाएँगे।
Submitted on 28 Apr, 2020 at 07:59 AM
घर पर रह अगर हम योग का सहारा लेंगे तब भी स्वस्थ रहेंगे
Submitted on 27 Apr, 2020 at 08:02 AM
पसंद से प्रिय या प्रिय बनना एक परीक्षा के समान है ।
Submitted on 26 Apr, 2020 at 08:08 AM
इस लॉक्डाउन के समय पुस्तकें ही तो हैं जो हमे आहिस्ता आहिस्ता जीना सिखा रहीं हैं
Submitted on 24 Apr, 2020 at 07:24 AM
इसी उधेड़ बुन में की कैसे दूसरे के सुख छीने जा सकते हैं।
Submitted on 22 Apr, 2020 at 11:58 AM
प्रिय डायरी, जैसे मैने पहले भी कहा आज कौतूहल भरा व्यस्त दिन रहा।
Submitted on 20 Apr, 2020 at 15:44 PM
,लॉक्डाउन की वजह बेशक अच्छी नहीं परन्तु इस लॉक्डाउन ने पुराने कुछ दिन लौटा ज़रूर दिए।
Submitted on 18 Apr, 2020 at 12:05 PM
प्रिय डायरी हम मनुष्य कितना मैं मैं करते हैं, पैसे के पीछे भागते हैं
Submitted on 17 Apr, 2020 at 11:19 AM
नीरस जीवन में रंग भरकर ले आया ये लॉक्डाउन कुछ के रिश्ते मजबूत कर गया
Submitted on 17 Apr, 2020 at 06:35 AM
अच्छा संगीत सुना जाए जिसे हमेशा से हम फुर्सत में सुनना चाहते थे
Submitted on 14 Apr, 2020 at 09:19 AM
नए जीवन दो की सुनहरी किरणों में झिल मिल जगमगाएगा हिंदुस्तान।
Submitted on 13 Apr, 2020 at 12:01 PM
योग हमे स्वस्थ तो रखता ही है साथ ही मानसिक शान्ति भी देता है
Submitted on 11 Apr, 2020 at 10:45 AM
मेरे सपने खोजी सपने अपने सपने, सुख दुःख के साथी प्यारे सपने।
Submitted on 10 Apr, 2020 at 07:24 AM
सकारात्मक सोच और आपके कहे शब्द कई बार आपको तमाम उम्र याद रहते हैं
Submitted on 09 Apr, 2020 at 07:29 AM
सोच रही थी इतनी शिक्षा इनकी जीवन की तपस्या का ही तो निचोड़ है
Submitted on 08 Apr, 2020 at 07:12 AM
प्रिय डायरी हालत अच्छे नहीं और मन को विचलित करने वाले हैं
Submitted on 07 Apr, 2020 at 15:22 PM
नव जीवन के संचार के लिए प्रकाश की नई किरण के लिए भगाने तम की काली छाया एक दिया जलाना
Submitted on 05 Apr, 2020 at 14:11 PM
मानवता एक बड़ा धर्म है और मानवता के नाते हम एक दूसरे का ख्याल रखें।
Submitted on 03 Apr, 2020 at 07:28 AM
आज यहीं विराम लूँगी प्यारी डायरी कल फिर करेंगे बातें सुख दुःख की तब तक माँ के चरणो में
Submitted on 01 Apr, 2020 at 14:05 PM
खुद भूखे रह द्वार पर आए भिक्षुक को खिलाने की प्रथा है
Submitted on 31 Mar, 2020 at 12:04 PM
धीरे धीरे व्याकुल मन कुछ शान्त होने लगा था
Submitted on 30 Mar, 2020 at 16:04 PM
चलो अब कुछ दिन घर पर ही रह देशहित में नियम पालन करना होगा।
Submitted on 29 Mar, 2020 at 17:26 PM
आज मैंने एक किताब की समीक्षा लिखी जो कल रात को पढ़ी थी ... लेखक मन को थोड़ी तसल्ली मिली
Submitted on 28 Mar, 2020 at 12:21 PM
सूर्य देवता को जल दे मैं भी उनसे शक्ति और ऊर्जा देने की माँग कर रही थी
Submitted on 27 Mar, 2020 at 09:58 AM
सुबोध का घिनौना चेहरा सामने आ गया था सुधा ने सपने में भी नहीं सोचा था
Submitted on 10 Nov, 2019 at 11:58 AM
मेरी सांसों के तार टूट जाएं इससे पहले मुझे कुछ सांसें दे उधार करो मुझ पर उपकार।
Submitted on 08 Nov, 2019 at 12:38 PM
मैं पश्चाताप कर रहा था और सोच रहा था ये तो यूं ही गया जैसे आ बैल मुझे मार।
Submitted on 07 Nov, 2019 at 11:45 AM
विचारे दूसरों की बातों का यकीन ना करने का प्रण कर दोनो गले लग गईं। अंत भला तो सब भला
Submitted on 05 Nov, 2019 at 07:00 AM
शायद मां अपने बच्चों को खूब जानती है इसलिए खत लिखे जरूर पर भेजे नहीं।
Submitted on 04 Nov, 2019 at 05:27 AM
दोनों भाइयों को एक साथ राखी बांध मैं रिश्तों की डोर संभाले यादों के साथ अपने घर लौट रही
Submitted on 01 Nov, 2019 at 12:41 PM
वो आज फिर वही छोटी लड़की बनना चाहती थी, वो गांव की छोटी लड़की।
Submitted on 31 Oct, 2019 at 11:54 AM
ऐसी कितनी मुन्नी होंगी जिनका जिक्र तक दफन कर दिया गया होगा, सोचते ही निकल पड़ी थी मैं एक-दूसरे ही प्रोजेक्ट पर...
Submitted on 15 Mar, 2019 at 14:11 PM