इतेफाक
इतेफाक
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कोई नहीं रोता किसी को याद कर कर,
मतलब की ये दुनिया कोई किसी का नहीं यहाँ,
याद वो हमको ना करे कोई गम नहीं,
अब हमने भी उनको याद करना छोड़ दिया
कितना अजीब इतेफाक है कभी हम
किसी के प्यार में शायर बन गये थे
अब वो हमको याद कर करके
दीवाना शायर बन गया है
सच ही कहा है किसी ने जैसी करनी वैसी भरनी
हमको तन्हा तुमने छोड़ा था कभी
अब तुम भी तन्हा तन्हा रहने का सबब देख लो
जुदाई का आलम क्या होता देख लो