उठाए अपने कांधे पर अतीत को भागता रहता है इंसान। उठाए अपने कांधे पर अतीत को भागता रहता है इंसान।
खुद भी खुशी से जीना चाहिए और औरों को भी जीने देना चाहिए। खुद भी खुशी से जीना चाहिए और औरों को भी जीने देना चाहिए।
करेगा सो भरेगा क्यों सोचे समझदार आ बैल मुझे मार। करेगा सो भरेगा क्यों सोचे समझदार आ बैल मुझे मार।
जिसको भी बोलता ये बातें सुनने वाले कुछ ना कह पाते सोचते सारे अभी तो ये बच्चा है जिसको भी बोलता ये बातें सुनने वाले कुछ ना कह पाते सोचते सारे अभी तो ये बच...
हाँ, क्षितिज होता है प्रेम ! हाँ, क्षितिज होता है प्रेम !
कल से बेटी अब तुमको भी अपने भाई के साथ स्कूल जाना है। कल से बेटी अब तुमको भी अपने भाई के साथ स्कूल जाना है।